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बदले नियम: डिप्लोमा धारक बन सकेंगे मेडिकल कॉलेजों में शिक्षक, डॉक्टरों ने जताई कड़ी आपत्ति lnsnewsअलीगढ़ |
राष्ट्रीय चिकित्सा आयोग ने शिक्षक योग्यता योग्यता के लिए नई दिशा-निर्देशों का एक प्रारूप जारी किया है। इसके तहत अब आर्किटेक्चर्स को भी मेडिकल ट्रेनर बनाने का प्रस्ताव है। ड्राफ्ट रिलीज होने के बाद पीयर्स ने सीक्वल की तलाश की।
देश फटाफट: 60 के दशक की सभी खबरें पढ़ें: 60 के दशक की सभी खबरें, राष्ट्रीय चिकित्सा आयोग (एनएमसी) ने नई दिशा-निर्देशों के लिए शिक्षक योग्यता योग्यता के लिए एक मसौदा जारी किया है, जिसमें सुपर मेमोरियल को भी मेडिकल कोचिंग में शामिल किया गया है। शिक्षक निर्माण का प्रस्ताव दिया गया है। हालाँकि इसके लिए रिचर्डसन जनरल रेजिडेंट का अनुभव जरूरी है, लेकिन एनएमसी के इस वकील ने कहा
मैसाचुसेट्स की रिवायत में काफी नामा मसूदे में कहा, यूनाइटेड डॉक्टर्स फ्रंट के अध्यक्ष डॉ. बागा मास्टर्स ने कहा कि यह ड्राफ्ट मेडिकल एजुकेशन का कोर्स गलत हो रहा है। इसका सीधा असर हमारे देश में स्वास्थ्य सेवा वितरण की गुणवत्ता पर पड़ता है। उन्होंने कहा कि किसी भी गैर-सरकारी रेस्तरां को किसी भी तरह के स्थायी रेस्तरां के रूप में नियुक्त नहीं किया जाना चाहिए।
2017 से सीनियर रेजिडेंट के पद पर काम चल रहा है
मेडिकल बॉलर में न्यूजुअल प्रोफेसर के रूप में काम कर रहे हैं सामान्य के, सरकारी मेडिकल बैचलर में 2017 से सीनियर रेजिडेंट के पद पर काम कर रहे हैं। इसी तरह एनाटॉमी, बायोकेमिस्ट्री और फिजियोलॉजी विषयों के लिए गैर-चिकित्सक, सीनियर रेजिडेंट और सहायक शिक्षक बन सकते हैं। हालाँकि तीन विषयों के लिए पुराने जमाने की डिग्री का होना अनिवार्य है। यह नियम माध्यमिक अवधि के लिए लागू होगा जिसका मतलब यह है कि किसी भी विषय के लिए एटीमी शिक्षक उपलब्ध नहीं होंगे और इस पर नियुक्तियां की जाएंगी।
अनुभव के आधार पर शिक्षक बनाना गलत
नई स्थित दिल्ली डॉ. राम मनोहर मनोहर अस्पताल के बुजुर्ग डॉक्टर कबीर का कहना है कि एनएमसी के उस सहायक डॉक्टर की पेशकश चल रही है, जो कभी नहीं हुआ। इसके लिए कम से कम तीन साल के लिए एक एमडी डॉक्टर की नियुक्ति की जाती है और उसके साथ सीनियर रेजिडेंट की जिम्मेदारी ली जाती है। इन सभी में एक व्यापक वक्ता का अनुमान है जिसमें बाद में वह शिक्षक वर्ग में आ सकता है लेकिन छात्र को शिक्षक निर्माण चिकित्सा शिक्षा के लिए केवल अनुभव के आधार पर नुकसान की दिशा तय करनी होगी। शिक्षक या शिक्षिकाओं की कमी दूर करना जरूरी है लेकिन उनके लिए इस तरह के नियम लागू करना भी जरूरी नहीं है।
ग्लासी के बाद पायथाइल स्कॉलर को फ़ायदा
नई दिशा में उन मसालों के निर्देश दिए गए हैं जिनमें मैसाचुसेट्स के बाद के मेडिकल नोट्स (पीजी) के स्मारकों के रूप में लिया गया है। साल 2017 में एमसीआई ने हॉस्पिटल में सीनियर रेजिडेंट के रूप में नौकरी के बारे में जानकारी दी। तब भी एकस्पेक्ट पोर्टफोलियो ने इस फैसले का काफी विरोध किया था क्योंकि इससे पहले सर्जरी तक मास्टर्स (एमएस) या डॉक्टर ऑफ मेडिसिन (एमएडीएम) पास करने वाले थे और ये छात्र स्नातक स्तर की पढ़ाई के लिए योग्यता प्राप्त कर चुके थे। अब एनएमसी ने ऑर्केस्ट्रा प्रोफेसर के पद पर फैसला लिया है।
देश फटाफट: 60 के दशक की सभी खबरें पढ़ें: 60 के दशक की सभी खबरें, राष्ट्रीय चिकित्सा आयोग (एनएमसी) ने नई दिशा-निर्देशों के लिए शिक्षक योग्यता योग्यता के लिए एक मसौदा जारी किया है, जिसमें सुपर मेमोरियल को भी मेडिकल कोचिंग में शामिल किया गया है। शिक्षक निर्माण का प्रस्ताव दिया गया है। हालाँकि इसके लिए रिचर्डसन जनरल रेजिडेंट का अनुभव जरूरी है, लेकिन एनएमसी के इस वकील ने कहा
मैसाचुसेट्स की रिवायत में काफी नामा मसूदे में कहा, यूनाइटेड डॉक्टर्स फ्रंट के अध्यक्ष डॉ. बागा मास्टर्स ने कहा कि यह ड्राफ्ट मेडिकल एजुकेशन का कोर्स गलत हो रहा है। इसका सीधा असर हमारे देश में स्वास्थ्य सेवा वितरण की गुणवत्ता पर पड़ता है। उन्होंने कहा कि किसी भी गैर-सरकारी रेस्तरां को किसी भी तरह के स्थायी रेस्तरां के रूप में नियुक्त नहीं किया जाना चाहिए।
2017 से सीनियर रेजिडेंट के पद पर काम चल रहा है
मेडिकल बॉलर में न्यूजुअल प्रोफेसर के रूप में काम कर रहे हैं सामान्य के, सरकारी मेडिकल बैचलर में 2017 से सीनियर रेजिडेंट के पद पर काम कर रहे हैं। इसी तरह एनाटॉमी, बायोकेमिस्ट्री और फिजियोलॉजी विषयों के लिए गैर-चिकित्सक, सीनियर रेजिडेंट और सहायक शिक्षक बन सकते हैं। हालाँकि तीन विषयों के लिए पुराने जमाने की डिग्री का होना अनिवार्य है। यह नियम माध्यमिक अवधि के लिए लागू होगा जिसका मतलब यह है कि किसी भी विषय के लिए एटीमी शिक्षक उपलब्ध नहीं होंगे और इस पर नियुक्तियां की जाएंगी।
अनुभव के आधार पर शिक्षक बनाना गलत
नई स्थित दिल्ली डॉ. राम मनोहर मनोहर अस्पताल के बुजुर्ग डॉक्टर कबीर का कहना है कि एनएमसी के उस सहायक डॉक्टर की पेशकश चल रही है, जो कभी नहीं हुआ। इसके लिए कम से कम तीन साल के लिए एक एमडी डॉक्टर की नियुक्ति की जाती है और उसके साथ सीनियर रेजिडेंट की जिम्मेदारी ली जाती है। इन सभी में एक व्यापक वक्ता का अनुमान है जिसमें बाद में वह शिक्षक वर्ग में आ सकता है लेकिन छात्र को शिक्षक निर्माण चिकित्सा शिक्षा के लिए केवल अनुभव के आधार पर नुकसान की दिशा तय करनी होगी। शिक्षक या शिक्षिकाओं की कमी दूर करना जरूरी है लेकिन उनके लिए इस तरह के नियम लागू करना भी जरूरी नहीं है।
ग्लासी के बाद पायथाइल स्कॉलर को फ़ायदा
नई दिशा में उन मसालों के निर्देश दिए गए हैं जिनमें मैसाचुसेट्स के बाद के मेडिकल नोट्स (पीजी) के स्मारकों के रूप में लिया गया है। साल 2017 में एमसीआई ने हॉस्पिटल में सीनियर रेजिडेंट के रूप में नौकरी के बारे में जानकारी दी। तब भी एकस्पेक्ट पोर्टफोलियो ने इस फैसले का काफी विरोध किया था क्योंकि इससे पहले सर्जरी तक मास्टर्स (एमएस) या डॉक्टर ऑफ मेडिसिन (एमएडीएम) पास करने वाले थे और ये छात्र स्नातक स्तर की पढ़ाई के लिए योग्यता प्राप्त कर चुके थे। अब एनएमसी ने ऑर्केस्ट्रा प्रोफेसर के पद पर फैसला लिया है।
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